बलौदाबाजार, छत्तीसगढ़। 13 अक्टूबर 2024
✒️✒️ राघवेन्द्र सिंह…
छत्तीसगढ़ राज्य के राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा के कथित अतिक्रमण को नगर पालिका बलौदाबाजार नें हटा दिया है, राजस्व विभाग के कर्मचारी और नगर पालिका के अतिक्रमण दस्ता नें बुलडोज़र चलानें की कार्यवाही किया है।
बलौदाबाजार जिला मुख्यालय में स्थित माता षष्ठी मंदिर के सामनें सरकारी जमीन खाली पड़ी हुई है, इसी जमीन पर पहले एक समाज के तरफ से कब्जा करनें के लिए बोर्ड लगाया गया, जिसे पहले हटाया गया था, समाज के अतिक्रमण के कुछ समय बाद ही राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा का बोर्ड उसी जमीन पर लगा दिया गया था, इस कथित कब्जे की शिकायत नगर पालिका और राजस्व विभाग से हुई थी, इसके बाद बलौदाबाजार नगर पालिका नें राजस्व विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में अतिक्रमण को हटा दिया।
कार्यवाही के दौरान राजस्व विभाग के पटवारी, आर.आई., तहसीलदार सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।
वहीं कार्यवाही के बाद से नगर में तरह-तरह की चर्चाएं शुरू हो गई हैं।
बता दें कि कुछ दिन पहले ही तहसीलदारों के तबादले पर राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा पर लेन-देन के गंभीर आरोप लगे थे, उसके बाद अब इस तरह से उनके नाम का बोर्ड सरकारी जमीन पर लगा दिए जानें की घटना से राजनीतिक गलियारों में एक बार फिर चर्चा शुरू हो गई है।
वहीं इस मामले में जब मंत्री टंक राम वर्मा से पूछा गया तब उन्होंने मुस्कुराते हुए कहा कि यह मेरे जानकारी में नहीं है, अब आप बता रहे हैं तो खोजना पड़ेगा, मुझे पता ही नहीं है आप बोल रहे हैं तो पता करता हूं।”
अब सवाल यह उठता है कि राजस्व मंत्री के गृह जिले के जिला मुख्यालय में उनके नाम से बोर्ड लगाकर जमीन पर कब्जा कर लिया जाता है और उन्हें पता ही नहीं चलता, ना ही भा.ज.पा. के कार्यकर्ता और पदाधिकारी और ना ही सरकारी कर्मचारी-अधिकारी इस बारे में उनको जानकारी देते हैं।
ऐसे में भा.ज.पा. सरकार के इंटेलिजेंस फेलियर और अधिकारी-कर्मचारियों के साथ मंत्री के बीच कहीं ना कहीं कम्युनिकेशन गैप भी दिखाई दे रहा है, ऐसे में सरकारी योजनाओं का लाभ आम जनता तक पहुंचाने में सरकार को काफी परेशानी उठानी पड़ सकती है।